सीएनई रिपोर्टर, पिथौरागढ़
यहां उत्तराखंड में एक बार फिर धरती डोली है। पिथौरागढ़ में भूकंप के झटके महसूस किये गये हैं, जिसकी तीव्रता 4.9 रिक्टर स्केल नापी गई है।
उल्लेखनीय है कि भूकंप का केंद्र पिथौरागढ़ जनपद अंतर्गत धारचूला तहसील से 19 किमी दूर रहा। बताया जा रहा है कि यह इलाका नेपाल और चीन सीमा से लगता है। हिमालय की गहराईयों में हुई हलचल का असर पिथौरागढ़ जनपद में देखा गया। हालांकि संतोष की बात यह रही कि जान—माल का कोई नुकसान नहीं हुआ। आज बुधवार 11 मई को प्रात: 10 बजकर 03 मिनट पर जनपद के धारचूला में 4.6 मेग्नीट्यूड का भूकंप आया, जिसकी गहराई 38.5 km नापी गई है। भूकंप के झटके आने पर लोग अपने—अपने घरों से बाहर निकल आये थे, लेकिन संयोग से किसी किस्म की कोई दुर्घटना नहीं हुई।
खास बात तो यह है कि उत्तराखंड में इस साल 130 से अधिक छोटे भूकंप भी आए हैं, जिनमें से कई तो महसूस ही नहीं किए गये, लेकिन सिस्मोग्राफ में दर्ज जरूर हुए हैं। यानी साफ है कि उत्तराखंड के भीतरी तल में हलचल लगातार जारी है। ज्ञात रहे कि इससे पूर्व 12 फरवरी को भूकंप के झटके महसूस हुए थे। तब भूकंप की तीव्रता 4.1 मापी गई। उत्तरकाशी जिले में भूकंप का केंद्र होने की सूचना मिली थी। वहीं गुरुवार को जम्मू कश्मीर में भी भूकंप के झटके महसूस हुए थे। वहां रिक्टर पैमाने पर भूकंप की तीव्रता 5.3 रही थी, जबकि भूकंप का केंद्र ताजिकिस्तान में था। अलबत्ता इतना कहा जा सकता है कि उत्तराखंड व आस—पास के इलाकों में बार—बार महसूस किए जा रहे भूकंप के झटके भूमि की भीतरी हलचल को दर्शा रहा है। भूकंप की दृष्टि से संवेदनशील व अति संवेदनशील केंद्रों में विशेष सावधानी बरतने की जरूरत है।