जय हो : अल्मोड़ा पुलिस ने सोशल मीडिया को बनाया हथियार ! साइबर अपराधियों पर नकेल कसने की शानदार मुहिम, जागरूकता ला रहे ऑनलाइन मैसेज (Memes), अब इंस्टाग्राम और फेसबुक पर भी बनाई मजबूत पकड़

सीएनई रिपोर्टर, अल्मोड़ा बहुत तेजी से प्रचार—प्रसार फैला चुका सोशल मीडिया जहां विचारों की स्वतंत्र अभिव्यक्ति का माध्यम बन गया है, वहीं इसके बहुत से…

सीएनई रिपोर्टर, अल्मोड़ा

बहुत तेजी से प्रचार—प्रसार फैला चुका सोशल मीडिया जहां विचारों की स्वतंत्र अभिव्यक्ति का माध्यम बन गया है, वहीं इसके बहुत से खतरनाक पहलू भी देखने में आ रहे हैं। WhatsApp, Twitter,  फेसबुक, इंस्टाग्राम जैसे माध्यमों से जहां कई ऑनलाइन फ्राड की घटनाएं सामने आ रही हैं, वहीं इसके बेजा इस्तेमाल से भ्रामक व गलत सूचनाओं के प्रसार के चलते कई बार आपसी सौहार्द पर भी खतरा बना है। इन हालातों में अल्मोड़ा पुलिस ने एक उम्दा पहल शुरू करते हुए सोशल मीडिया में प्रत्यक्ष रूप से न केवल दखल देना शुरू कर दिया है, बल्कि सोशल मीडिया मैसेज के माध्यम से जनता को जागरूक करने का कार्य भी किया जा रहा है।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक पंकज भट्ट की दूरगामी सोच को कार्यरूप में परिणित करते हुए अल्मोड़ा पुलिस का मीडिया सैल इसमें महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर रहा है। मिसाल के तौर पर, ‘कोविड का अनिवार्य टीकारण’, ‘कभी मत करो अंजाने लिंक पर क्लिक’, ‘लुभावने आफर की जांच—परख करें’ जैसे संदेश (Internet Memes) अब अल्मोड़ा पुलिस फेसबुक, इस्टाग्राम, व्हट्सअप के माध्यम से जनता को दे रही है। पुलिस के इन संदेशों की पहुंच अब सोशल मीडिया के माध्यम से हजारों—लाखों लोगों तक है। कभी साइबर अपराध तो कभी नशाखोरी एवं कभी यातायात नियमों को लेकर मीम्बस इन दिनों बनाये जा रहे हैं। यह इंटरनेट मीम्स आजकल खूब प्रचलन में भी हैं। साइबर अपराधी अपराधों को अंजाम देने के लिए जिन माध्यमों का प्रयोग करता है उन पर न केवल अल्मोड़ा पुलिस की पैनी नज़र है, बल्कि उन्हें माध्यमों में पुलिस भी साइबर अपराधियों के मंसूबों पर पानी फेर रही है। अल्मोड़ा पुलिस द्वारा कई आकर्षक बैनर सोशल मीडिया के लिए बनाये हैं और​ निरंतर यह क्रम जारी है।
एक बैनर देखियेगा, जहां साइबर अपराधियों के प्रतीक चित्र बनाये गये हैं। आगे लिखा गया है कि ‘ये साइबर अपराधी है, ये दी आपने ओटीपी और ये हो गए आप ठगी का शिकार’। निश्चित रूप से पुलिस ने जागरूकता अभियान को एक नया स्वरूप यहां दिया है। पुलिस फोर्स इतनी नही है कि घर—घर जा लोगों को आनलाइन फ्राड के माध्यमों से अवगत कराये, लेकिन सोशल मीडिया ही वह मंच बन गया है, जहां पुलिस अब घर—गांव हर जगह अपना संदेश पहुंचा जनता को सम्भावित ठगी से सुरक्षित कर रही है। वस्तुत: समय के साथ पुलिस भी अपने को आधुनिक कर रही है। जहां अपराधी रोज ठगी के नए—नए माध्यम ढूंढ रही है तो पुलिस भी उसी के हथियार से उसकी प्लानिंग फेल करने के प्रयास में जुटी है। अल्मोड़ा पुलिस की इस मुहिम की विभिन्न मंचों से काफी सराहना हो रही है।

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